The song begins with a serene and haunting flute melody, setting a mystical ambiance from the outset. Khan's voice enters with a captivating intensity, effortlessly navigating the intricate melodies and ornamentations typical of Sufi music. His vocal prowess shines through, conveying deep yearning and devotion through every note.
Composer | Salim-Sulaiman |
Lyricist | Jaideep Sahni |
Singer | Rahat Fateh Ali Khan |
Album | Aaja Nachle |
Record Label | YRF Music |
Song Release Year |
ओ, रे पिया, हाय
ओ, रे पिया
ओ, रे पिया, हाय
ओ, रे पिया
ओ, रे पिया, हाय
ओ, रे पिया
उड़ने लगा क्यूँ मन बावला रे?
आया कहाँ से ये हौसला रे?
ओ, रे पिया
ओ, रे पिया, हाय (ओ, रे पिया)
ताना-बाना, ताना-बाना बुनती हवा, हाय, बुनती हवा
बूँदें भी तो आएँ नहीं बाज़ यहाँ, हाय
साज़िश में शामिल सारा जहाँ है
हर ज़र्रे-ज़र्रे की ये इल्तिजा है
ओ, रे पिया
ओ, रे पिया, हाय
ओ, रे पिया, हाय
ओ, रे पिया
नि-रे, रे-रे-गा, रे-गा-मा, मा-मा-पा, पा-मा-गा-रे-सा
सा-रे-रे-सा, ग-ग-रे-म-ग, प-प-म, ध-ध-प
नि-नि-सा-धा-पा, पा-ध-मा-पा-नि-ध-र
नि-ध-र-ध...
नज़रें बोलें, दुनिया बोले दिल की ज़बाँ
हाय, दिल की ज़बाँ
इश्क़ माँगे, इश्क़ चाहे कोई तूफ़ान, हाय
चलना आहिस्ते, इश्क़ नया है
पहला ये वादा हमने किया है
ओ, रे पिया, हाय
ओ, रे पिया, हाय
ओ, रे पिया
पिया, ए, पिया
नंगे पैरों पे अंगारों चलती रही
हाय, चलती रही
लगता है के ग़ैरों में पलती रही, हाय
ले चल वहाँ, जो मुल्क तेरा है
जाहिल ज़माना दुश्मन मेरा है
ओ, रे पिया, हाय
ओ, रे पिया, हाय
ओ, रे पिया, हाय
ओ, रे पिया, हाय
ओ, रे पिया, हाय
ओ, रे पिया
ओ, रे पिया
ओ, रे पिया